तिल का सेवन हमारे शरीर के लिए बहुत लाभदायक होता है।
सर्दियों में तिल व उसके तेल दोनों का ही सेवन
करना चाहिए। भारत में तो सर्दियों में तिल को ठंड में खाने
की परंपरा बहुत प्राचीन है क्योंकि सर्दियों में इसे खाने से न
केवल पेट के रोग बल्कि अन्य कई रोग भी दूर होते हैं। तिल में
कैल्शियम, आयरन, ऑक्जेलिक एसिड, अमीनो एसिड, प्रोटीन,
विटामिन बी, सी तथा ई की प्रचुर मात्रा होता है। काले
तिल व सफेद तिल दोनों का ही उपयोग औषधीय रूप में
भी किया जाता है। आज हम आपको बताने जा रहे हैं ठंड में तिल
के उपयोग व इसे खाने से होने वाले फायदों के बारे में....
- ठंड में तिल गुड़ दोनो समान मात्रा में लेकर मिला लें।उसके
लड्डू बना ले। प्रतिदिन 2 बार 1-1 लड्डू दूध के साथ खाने से
मानसिक दुर्बलता एंव तनाव दूर होते है। शक्ति मिलती है।
कठिन शारीरिक श्रम करने पर सांस
फूलना जल्दी बुढ़ापा आना बन्द हो जाता है। तिल व तिल के
तेल के सेवन से व सिर में इसकी मालिश करने से न केवल बाल घने और
चमकदार होते हैं बल्कि बालों का गिरना भी कम
हो जाता है।
- प्रतिदिन दो चम्मच काले तिल को चबाकर खाइए और उसके
बाद ठंडा पानी पीजिए। इसका नियमित सेवन करने से
पुराना बवासीर भी ठीक हो जाता है। बच्चा सोते समय
पेशाब करता हो़ तो भुने काले तिलों को गुड़ के साथ
मिलाकर उसका लड्डू बना लीजिए। बच्चे को यह लड्डू हर रोज
रात में सोने से पहले खिलाइए, बच्चा सोते वक्त पेशाब
नही करेगा।
- तिल का तेल एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होता है। वाइरस, एजिंग
और बैक्टीरिया से शरीर की रक्षा करता है। इसीलिए ठंड में
तिल का सेवन जरूर करना चाहिए। यदि सर्दी के कारण
सूखी खांसी हो तो 4-5 चम्मच मिश्री एंव इतने ही तिल
मिश्रित कर ले। इन्हे एक गिलास मे आधा पानी रहने तक उबाले।
इसे दिनभर में तीन बार लें।एक स्टडी के मुताबिक ठंड में तिल व
तिल के तेल का सेवन डायबिटीज के पेशेन्ट्स के लिए
दवा का काम करता है।
- पेट दर्द- 20-25 ग्राम साफ चबाकर उपर से गर्म पानी पिलाने
से पेट का दर्द ठीक हो जाता है।कब्ज होने पर 50 ग्राम तिल
भूनकर उसे कूट लीजिए, इसमें चीनी मिलाकर खाइए। इससे कब्ज
दूर हो जाती है। खांसी आने पर तिल का सेवन कीजिए
खांसी ठीक हो जाएगी। तिल व मिश्री को पानी में
उबाल कर पीने से सूखी खांसी भी दूर हो जाती है।
- रोज सुबह अच्छे से चबा चबाकर काले तिल खाने से दांत और
मसुड़े स्वस्थ रहते हैं। तिल खांसी से भी निजात दिलाता है।
अदरक वाली चाय में दो ग्राम तिल मिलाकर कुछ देर उबालें।
इस चाय के सेवन से खांसी ठीक हो जाती है।
- तिल, सोंठ, मेथी, अश्वगंधा सभी बराबर मात्रा में मिलाकर
चूर्ण बना लें। रोज सुबह इस चूर्ण के सेवन से आर्थराइटिस
की समस्या ठीक हो जाती है। ठंड में तिल के सेवन से कफ व सूजन
से भी राहत मिलती है।
सर्दियों में तिल व उसके तेल दोनों का ही सेवन
करना चाहिए। भारत में तो सर्दियों में तिल को ठंड में खाने
की परंपरा बहुत प्राचीन है क्योंकि सर्दियों में इसे खाने से न
केवल पेट के रोग बल्कि अन्य कई रोग भी दूर होते हैं। तिल में
कैल्शियम, आयरन, ऑक्जेलिक एसिड, अमीनो एसिड, प्रोटीन,
विटामिन बी, सी तथा ई की प्रचुर मात्रा होता है। काले
तिल व सफेद तिल दोनों का ही उपयोग औषधीय रूप में
भी किया जाता है। आज हम आपको बताने जा रहे हैं ठंड में तिल
के उपयोग व इसे खाने से होने वाले फायदों के बारे में....
- ठंड में तिल गुड़ दोनो समान मात्रा में लेकर मिला लें।उसके
लड्डू बना ले। प्रतिदिन 2 बार 1-1 लड्डू दूध के साथ खाने से
मानसिक दुर्बलता एंव तनाव दूर होते है। शक्ति मिलती है।
कठिन शारीरिक श्रम करने पर सांस
फूलना जल्दी बुढ़ापा आना बन्द हो जाता है। तिल व तिल के
तेल के सेवन से व सिर में इसकी मालिश करने से न केवल बाल घने और
चमकदार होते हैं बल्कि बालों का गिरना भी कम
हो जाता है।
- प्रतिदिन दो चम्मच काले तिल को चबाकर खाइए और उसके
बाद ठंडा पानी पीजिए। इसका नियमित सेवन करने से
पुराना बवासीर भी ठीक हो जाता है। बच्चा सोते समय
पेशाब करता हो़ तो भुने काले तिलों को गुड़ के साथ
मिलाकर उसका लड्डू बना लीजिए। बच्चे को यह लड्डू हर रोज
रात में सोने से पहले खिलाइए, बच्चा सोते वक्त पेशाब
नही करेगा।
- तिल का तेल एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होता है। वाइरस, एजिंग
और बैक्टीरिया से शरीर की रक्षा करता है। इसीलिए ठंड में
तिल का सेवन जरूर करना चाहिए। यदि सर्दी के कारण
सूखी खांसी हो तो 4-5 चम्मच मिश्री एंव इतने ही तिल
मिश्रित कर ले। इन्हे एक गिलास मे आधा पानी रहने तक उबाले।
इसे दिनभर में तीन बार लें।एक स्टडी के मुताबिक ठंड में तिल व
तिल के तेल का सेवन डायबिटीज के पेशेन्ट्स के लिए
दवा का काम करता है।
- पेट दर्द- 20-25 ग्राम साफ चबाकर उपर से गर्म पानी पिलाने
से पेट का दर्द ठीक हो जाता है।कब्ज होने पर 50 ग्राम तिल
भूनकर उसे कूट लीजिए, इसमें चीनी मिलाकर खाइए। इससे कब्ज
दूर हो जाती है। खांसी आने पर तिल का सेवन कीजिए
खांसी ठीक हो जाएगी। तिल व मिश्री को पानी में
उबाल कर पीने से सूखी खांसी भी दूर हो जाती है।
- रोज सुबह अच्छे से चबा चबाकर काले तिल खाने से दांत और
मसुड़े स्वस्थ रहते हैं। तिल खांसी से भी निजात दिलाता है।
अदरक वाली चाय में दो ग्राम तिल मिलाकर कुछ देर उबालें।
इस चाय के सेवन से खांसी ठीक हो जाती है।
- तिल, सोंठ, मेथी, अश्वगंधा सभी बराबर मात्रा में मिलाकर
चूर्ण बना लें। रोज सुबह इस चूर्ण के सेवन से आर्थराइटिस
की समस्या ठीक हो जाती है। ठंड में तिल के सेवन से कफ व सूजन
से भी राहत मिलती है।
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